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एक ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ी जो बिना कोई प्रथम श्रेणी मैच खेले आ गया टेस्ट टीम में, सहवाग ने बदल दी थी जिंदगी

आज हम आपको क्रिकेट के कुछ ऐसे किस्सों से रूबरू करवा रहे हैं जो आपने शायद पहले नहीं सुने होंगे. इस कड़ी में आज हम आपको बताने जा रहे हैं एक ऐसे क्रिकेट खिलाड़ी के बारे में जो आज भी ऑस्ट्रेलियाई टीम का हिस्सा है और जब वो ओपनर के तौर पर उतरता है तो विरोधी टीम के पहले पहल ओवर करने वाले तेज गेंदबाजों की शामत आ जाती है.

हम बात कर रहे हैं इस समय ऑस्ट्रेलिया के लिए ओपनर की भूमिका निभा रहे डेविड वार्नर के बारे में. उनके बारे में आपको ये तो पता होगा की वो बहुत ही धाकड़ ओपनर बल्लेबाज हैं जो किसी भी मैच को अकेले जिताने का दम रखते हैं, चाहे वो वनडे हो टी20 या हो टेस्ट.

उनके बैट से अबतक हजारों रन और सेंकड़ों छक्के चौके निकल चुके हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं की ऑस्ट्रेलिया के लिए जब उनका टेस्ट क्रिकेट में चयन हुआ था तो उन्होंने कोई भी प्रथम श्रेणी मैच नहीं खेल रखा था.

हैरान हो गए ना आप! पर ये बिल्कुल सच है. वार्नर ने अपने करियर की शुरुआत वनडे से की थी और ये दिन था 18 जनवरी 2009.

इसके बाद उनके प्रदर्शन को देखते हुए उन्हे टेस्ट में मौका मिला 1 दिसंबर 2011 को न्यूजीलैंड के खिलाफ. वनडे के दम पर ही उन्होंने टेस्ट में स्थान बना लिया था और उस समय तक उन्होंने कोई भी प्रथम श्रेणी मैच ऑस्ट्रेलिया के घरेलू क्रिकेट में नहीं खेला था.

विवादों से जुड़ा नाम खराब हुआ करियर

डेविड का नाम विवादों में भी रहा, आज से कुछ साल पहले दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ खेले जा रहे केपटाउन टेस्ट में उनपर और उनके साथियों पर क्रिकेट बॉल के साथ अनधिकृत छेड़छाड़ का आरोप लगा.

उस समय स्टीव स्मिथ टीम के कप्तान थे और वो भी इसमे शामिल बताए गए, ये उस टेस्ट सीरीज का तीसरा मैच था. इसकी सुनवाई करते हुए क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया ने तीन खिलाड़ियों वार्नर, कप्तान स्मिथ और कैमरन बैनक्रॉफ्ट पर बॉल टेम्परिंग के आरोप को सही पाए जाने पर एक एक साल का प्रतिबंध लगाया. स्मिथ और वार्नर वापसी करने में सफल रहे और आज टीम का हिस्सा हैं.

विवाद साथ चलते रहे और वार्नर आगे बढ़ते रहे

सहवाग ने बदल दी वार्नर की जिंदगी

वार्नर ने पाकिस्तान के खिलाफ खेले गए डे-नाइट टेस्ट मैच में सर डॉन ब्रैडमैन की ऑस्ट्रेलिया की तरफ से सर्वश्रेष्ठ पारी यानी निजी स्कोर को पीछे छोड़ने के बाद पत्रकारों से बातचीत के दौरान कहा की मेरी इस पारी का श्रेय वीरेंद्र सहवाग को दूंगा.

वॉर्नर ने आगे बताया की आईपीएल में जब वह वीरेंद्र सहवाग से मिले तो सहवाग ने टेस्ट क्रिकेट के प्रति मेरा नजरिया बदल दिया. सहवाग ने कहा की वो टी20 के नहीं टेस्ट के खिलाड़ी हैं.

एकबार मुझे लगा की सहवाग मजाक कर रहे हैं, लेकिन बाद में मैंने उनकी बात पर अमल किया और मैं टेस्ट क्रिकेट में कामयाब हो गया.

वार्नर ने अबतक 101 टेस्ट में 25 शतक के साथ 11953 रन बनाए हैं, वहीं वनडे में उन्होंने 141 मैच में 19 शतक और 44 से अधिक की एवरेज के साथ 6303 रन बनाए हैं. बात करें टी20 क्रिकेट की तो वार्नर के नाम 99 मैचों में 2816 रन हैं और एक शतक भी उनके खाते में दर्ज है.